लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को एक के बाद एक बड़ा झटका लग रहा हैं। आर्थिक मामलों के विशेषज्ञ गौरव वल्लभ और बॉक्सर विजेंदर सिंह उस सूची में नए नाम हैं, जिन्होंने कांग्रेस का हाथ छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया है। इसके पहले ऐसे नेताओं की एक लंबी सूची है, जिन्होंने कांग्रेस का साथ छोड़ा और भाजपा, तृणमूल कांग्रेस, सपा-बसपा जैसे किसी अन्य दल में चले गए। सबसे पुरानी पार्टी के पक्ष में लड़ने वाले नेता अब सरकार के गुणगान गा रहे हैं और कांग्रेस व उसके नेतृत्व की आलोचना कर रहे हैं।
गौरव वल्लभ भी ऐसी ही सूची में शामिल हो गए हैं, जो पिछले कुछ वर्षों तक भाजपा पर हमलावर रहे और अब इसका दामन थाम लिया। भाजपा नेताओं पर वल्लभ के तीखे तंज की रील अक्सर सोशल मीडिया पर वायरल होती थीं। हालांकि, उन्होंने गुरुवार सुबह कांग्रेस के सभी पदों से यह कहते हुए इस्तीफा दे दिया कि वह सनातन विरोधी नारे नहीं लगा सकते। इसके कुछ घंटे बाद ही वह भाजपा में शामिल हो गए। बता दें, वल्लभ ने कांग्रेस की ओर से झारखंड और राजस्थान में विधानसभा चुनाव लड़ा था, लेकिन उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।
ऐसा नहीं है कि केवल वल्लभ ने कांग्रेस का साथ छोड़ा है, बल्कि कई बड़े नेता पार्टी को अलविदा कह चुके हैं। बल्कि इससे पहले जयवीर शेरगिल, शहजाद पूनावाला और रीता बहुगुणा जोशी भी भाजपा का हाथ थाम चुकी हैं। शेरगिल कांग्रेस के साथ एक दशक बिताने के बाद 2022 में भाजपा में शामिल हुए। सबसे पुरानी पार्टी के एक अन्य प्रमुख चेहरे पूनावाला ने 2017 में तब सुर्खियां बटोरी थीं, जब उन्होंने कांग्रेस के संगठनात्मक चुनावों को दिखावा कहा था। बाद में वह भाजपा में शामिल हो गए और उन्हें इसका प्रवक्ता नियुक्त किया गया। 2021 में, उन्हें राष्ट्रीय राजधानी के लिए भाजपा के सोशल मीडिया विंग का प्रभारी भी बनाया गया था।
Please do not enter any spam link in the comment box